उत्तराखंड/नैनीताल:ट्रैफिक जाम की समस्या को लेकर हाईकोर्ट की सख्त टिप्पणी!जोशीमठ जैसे हालात हो सकते है नैनीताल में!जानिए जाम की समस्या से निजात पाने को किन सुझावों को बताया हाईकोर्ट ने
उत्तराखंड हाईकोर्ट में नैनीताल में पर्यटन सीजन में हो रहे ट्रैफिक जाम को लेकर 7 जून को सुनवाई की। मुख्य न्यायधीश विपिन सांधी व न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ ने मामले को गम्भीरता लेते हुए सुनवाई गुरुवार को भी जारी रखी है । कोर्ट ने कहा कि अगर इस समस्या को समय पर नहीं सुलझाया गया तो यहां के हालात भी जोशीमठ की तरह हो सकते हैं । प्रशासन ट्रैफिक मैनेजमेंट को नजरअंदाज कर रखा है जिसकी वजह से अव्यवस्था उत्तपन्न हो रही है लोगो को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है । हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि नैनीताल में पार्किंग की जगह कम है इसलिए यहां हेली सेवा शुरु की जाए।
वही हाईकोर्ट ने ये भी कहा कि तल्लीताल से मलीताल के लिए इलैक्ट्रिक फेरी या केबिल कार की व्यवस्था होनी चाहिए और लोकल शटल सेवा बढाई जाए । कोर्ट ने नगर पालिका से भी पूछा कि माल रोड में कितने ई - रिक्शा चल रहे हैं ।
आपको बता दें कि मामले के हाईकोर्ट महिला अधिवक्ता प्रभा नैथानी द्वारा मुख्य न्यायाधीश को पत्र लिखकर शहर में हो रहे ट्रैफिक जाम की समस्या से अवगत कराते हुए कहा गया है कि नैनीताल में खासकर सीजन के दौरान ट्रैफिक जाम की बहुत बड़ी समस्या है । सीजन के दौरान हजारों पर्यटक अपने वाहनों और टैक्सी से यहां आते हैं जो जाम का मुख्य कारण हैं । हाईकोर्ट की तरफ से भी समय - समय पर जिलाधिकारी और पुलिस प्रशासन को ट्रैफिक सुधारने के लिए निर्देश दिए गए है लेकिन आज तक भी समस्या ज्यो की त्यों बनी हुई है।यातायात पुलिस इस समस्या से निबटने में नाकाम साबित हुई है। जिससे स्कूली बच्चों , कार्यालय कर्मचारियों और अधिवक्ताओं को समय पर पहुंचने में काफी दिक्कत हो रही है । उन्होंने ये भी कहा कि पार्किंग की उचित व्यवस्था न होने के कारण होटल व्यवसायी भी पर्यटकों की गाड़ियों को सड़क पर ही खड़ी करवा रहे हैं ऐसे में कई बार एम्बुलेंस समेत मरीजों को ले जा रही निजी गाड़ियां ट्रैफिक जाम का शिकार हुई हैं। कालाढूंगी , भवाली और हल्द्वानी से आने जाने वाले वाहनों की चेकिंग नहीं हो रही है जिससे जाम के हालात पैदा होते हैं और पुलिस खुद मूकदर्शक बनी रहती है । इंडिया होटल के पास जू शटल सेवा लगी रहती है जिसकी वजह से और जाम लग जाता है उसे भी आगे शिफ्ट किया जाए।