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रामनगर घटनाक्रमः हाईकोर्ट ने दिए सख्त आदेश! राजनीतिक दबाव में न आकर कानून और सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के हिसाब से करें कार्यवाही

Ramnagar incident: High Court issues strict orders! Do not succumb to political pressure, act in accordance with the law and Supreme Court guidelines.

नैनीताल। उत्तराखंड हाईकोर्ट ने रामनगर के भाजपा नेता मदन जोशी व अन्य के खिलाफ दंगा भड़काने की सुनियोजित साजिश करने के मामले में मदन जोशी की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए याचिका को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने मामले की सुनवाई के बाद एसएसपी नैनीताल को 8 दिसंबर को कोर्ट में पेश होने को कहा है। आज हुई सुनवाई पर अन्य आरोपियों की तरफ से न्यायालय के समक्ष सरेंडर करने की बात कहते हुए याचिकाओं को वापस लिया गया। बता दें कि नैनीताल जिले के रामनगर कोतवाली क्षेत्र के छोई में गोवंश के आरोप में 23 अक्टूबर को ड्राइवर नासिर की पिटाई के बाद नासिर की पत्नी नूरजहां की ओर से हाईकोर्ट में सुरक्षा की मांग को लेकर याचिका दायर की गई थी। नूरजहां की तरफ से कोर्ट को बताया कि स्थानीय नेता मदन जोशी द्वारा लगातार भड़काऊ फेसबुक पोस्ट और लाइव करके अपने 23 अक्टूबर के कृत्य को सही बताया जा रहा है और लगातार धार्मिक भावनाएं भड़काई जा रही है। उक्त मामले में कोर्ट ने रामनगर पुलिस को आदेश दिया है कि वह सुनिश्चित करें कि मदन जोशी और उनके अन्य कोई फॉलोअर सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट न करें और मदन जोशी द्वारा जो भी भड़काऊ पोस्ट की गई है, उनको जांच अधिकारी फेसबुक से हटवाएं। पुलिस के अधिवक्ता ने उत्तराखंड हाईकोर्ट को बताया छोई में उस दिन वाहन में जो मांस ले जाया जा रहा था, वह भैंस का मांस था, जिसका निर्धारित लाइसेंस और फूड सेफ्टी सर्टिफिकेट बरेली से आपूर्तिकर्ता द्वारा जारी किया गया था। उत्तराखंड हाईकोर्ट ने रामनगर पुलिस को निर्देश दिया कि वे नेता मदन जोशी के किसी भी प्रकार के राजनीतिक दबाव में न आकर कानून और सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के हिसाब से इस मामले में कड़ी कार्रवाई की जाय।