हाथरस काण्डः पुलिस ने दाखिल की 3200 पेज की चार्जशीट! भोले बाबा का जिक्र तक नहीं, जानें कौन है 121 मौतों का जिम्मेदार

Hathras incident: Police filed 3200 page charge sheet! There is no mention of Bhole Baba, know who is responsible for 121 deaths

हाथरस। यूपी के हाथरस काण्ड से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आई है, इस मामले में पुलिस ने चार्जशीट दाखिल कर दी है। हैरानी की बात ये है कि चार्जशीट में भोले बाबा का जिक्र तक नहीं किया गया है। बता दें कि हाथरस कांड में 121 लोगों की दर्दनाक मौत हुई थी, आरोप भोले बाबा से लेकर कार्यक्रम के आयोजकों पर लगा था। लेकिन अब इतने महीनों बाद जब हाथरस पुलिस ने अपनी चार्जशीट दाखिल की है, उसमें कही भी भोले बाबा का नाम तक नहीं। पुलिस ने कुल 11 लोगों पर आरोप तय किए हैं, इसमें उन्हें भी शामिल किया गया है जिन्होंने कार्यक्रमों के लिए परमिट मांगने का काम किया था। इस बात पर भी जोर दिया गया है कि हादसा इसलिए हुआ क्योंकि मिसमैनेजमेंट थी, जरूरत से ज्यादा लोग पहुंच गए थे।

अब पुलिस की चार्जशीट में देव प्रकाश मधुकर, मेघ सिंह, मुकेश कुमार, मंजू देवी, मंजू यादव, राम लड़ैते, उपेंद्र सिंह, संजू कुमार, राम प्रकाश शाक्य, दुर्वेश कुमार और दलवीर सिंह को आरोपी बनाया गया है। इन्हीं लोगों को इस कार्यक्रम में अहम जिम्मेदारी मिली हुई थी। यहां भी मंजू देवी, मंजू यादव को हाईकोर्ट ने जमानत दे दी है। इस मामले में अब चार्जशीट को लेकर सुनवाई कल 4 अक्टूबर को होने वाली है। वैसे हाथरस हादसे को लेकर जानकारी मिली थी कि लोग गए तो सत्संग सुनने थे, लेकिन वहां पर बाबा की पैरों की धूल छूने को लेकर ऐसी होड़ मची कि हर कोई एक दूसरे पर गिर गया। उस वजह से ही भगदड़ हुई और 121 लोगों की दर्दनाक मौत देखने को मिली। वैसे हाथरस वाले बाबा को लेकर कई ऐसी जानकारियां भी सामने आई हैं जिस वजह से उन पर सवाल उठ रहे हैं। असल में बाबा के आश्रम को लेकर एक बड़ा खुलासा हुआ था।

एनडीटीवी में छपी एक रिपोर्ट के मुताबिक बाबा भोले ने अपने आश्रम में एक गुप्त कमरा रखा हुआ है जहां पर सिर्फ सात लोगों को ही जाने की इजाजत होती है। इन सात लोगों में सेवादार और कुछ महिलाएं शामिल हैं। बताया जा रहा है कि यह सारे वो लोग हैं शुरुआत से ही नारायण हरि साकार के साथ जुड़े रहे हैं, कोई भी दूसरा शख्स यहां जा नहीं सकता है। हैरानी की बात यह है कि बाबा को पूरे समय अपनी जान का खतरा लगा रहता है। रिपोर्ट में कहा गया था कि वे रात आठ बजे के किसी से मुलाकात नहीं करते। अब इन तमाम दावों के बीच चार्जशीट से बाबा का नाम गायब है, उनके खिलाफ कोई एक्शन भी नहीं हुआ है।