नैनीताल:राज्य आंदोलनकारियों के बच्चों के हक की आवाज!सीएम की घोषणा सिर्फ फाइलों में? कुमाऊँ यूनिवर्सिटी में अमल नहीं!छात्रों को देना पड़ा ज्ञापन

A voice for the rights of the children of statehood movement activists! Is the CM's announcement only on paper? No implementation at Kumaon University! The students had to submit a memorandum.

नैनीताल।
मुख्यमंत्री के स्पष्ट निर्देशों और शासनादेश के बावजूद कुमाऊँ विश्वविद्यालय में उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारियों के बच्चों को निशुल्क शिक्षा का लाभ अब तक लागू नहीं किया गया है। इसी को लेकर सरोवर नगरी नैनीताल स्थित डीएसबी कॉलेज में अध्ययनरत राज्य आंदोलनकारियों के आश्रित छात्रों को कुलपति को ज्ञापन सौंपकर आदेश की याद दिलानी पड़ी।

 


उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारियों के आश्रित छात्र हर्षित जोशी, शशांक भंडारी, प्रियांशु नेगी सहित अन्य छात्रों ने कुमाऊँ विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. दिवान सिंह रावत से मुलाकात कर उन्हें ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन के माध्यम से छात्रों ने उत्तराखंड सरकार द्वारा जारी उस शासनादेश की जानकारी दी, जिसमें चिन्हित उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारियों के दो बच्चों को निशुल्क शिक्षा प्रदान किए जाने का स्पष्ट प्रावधान किया गया है।


छात्रों ने कुलपति को अवगत कराया कि गढ़वाल मंडल के विभिन्न विश्वविद्यालयों और शिक्षण संस्थानों में इस शासनादेश को लागू करते हुए राज्य आंदोलनकारियों के आश्रित छात्रों को निशुल्क शिक्षा का लाभ दिया जा रहा है। इतना ही नहीं, वहां पहले से जमा की गई फीस भी छात्रों को वापस की जा चुकी है। इसके विपरीत कुमाऊँ विश्वविद्यालय और डीएसबी कॉलेज में यह आदेश अब तक धरातल पर लागू नहीं हो पाया है।
छात्रों ने मांग की कि जिस प्रकार गढ़वाल मंडल में मुख्यमंत्री के निर्देशों का पालन किया जा रहा है, उसी तरह कुमाऊँ विश्वविद्यालय के अंतर्गत आने वाले डीएसबी कॉलेज सहित सभी शिक्षण संस्थानों में भी राज्य आंदोलनकारियों के दो बच्चों को निशुल्क शिक्षा का लाभ तत्काल लागू किया जाए।
इस पर कुलपति प्रो. दिवान सिंह रावत ने छात्रों को आश्वस्त किया कि वे इस विषय में शीघ्र अपने स्तर से आवश्यक कार्रवाई करेंगे। उन्होंने कहा कि यदि शासनादेश के अनुरूप कोई प्रावधान विश्वविद्यालय स्तर पर लागू किया जा सकता है, तो उसे कुमाऊँ विश्वविद्यालय में भी लागू किया जाएगा।
मुलाकात के बाद छात्रों ने कुलपति का आभार व्यक्त किया, साथ ही उम्मीद जताई कि मुख्यमंत्री के निर्देशों के अनुरूप जल्द ही इस आदेश पर अमल किया जाएगा।