निकाय चुनावः रुद्रपुर में भाजपा के दर्जा मंत्री नहीं बचा पाए अपना किला! वार्ड तीन में कांग्रेस प्रत्याशी की जीत के बाद चर्चाओं का बाजार गर्म, तो इस वजह से करना पड़ा हार का सामना

रुद्रपुर। उत्तराखंड निकाय चुनाव में जहां भाजपा ने बड़ी जीत दर्ज की है, वहीं भाजपा के दर्जा मंत्री और दिग्गज नेता उत्तम दत्ता अपना किला तक नहीं बचा सके। रुद्रपुर नगर निगम के वार्ड 3 में कांग्रेस प्रत्याशी ने जीत दर्ज की है।
बता दें कि उत्तराखंड में निकाय चुनाव सम्पन्न हो चुके हैं। इससे पहले 11 नगर निगमों, 43 नगर परिषदों और 46 नगर पंचायतों के लिए गुरुवार 23 जनवरी को मतदान हुआ था, जिसमें 65.4 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। इस दौरान कुल 5405 उम्मीदवार मैदान में थे, जिनमें 11 महापौर पदों के लिए 72 नगर परिषद अध्यक्ष के लिए 445 और नगर पार्षदों और सदस्यों के लिए 4888 उम्मीदवार शामिल रहे। वहीं बात अगर रुद्रपुर नगर निगम की करें तो यहां कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है और एक बार फिर भाजपा का ‘कमल’ खिला है। शनिवार को रुद्रपुर नगर निगम निकाय के लिए 40 टेबल पर मतगणना हुई। इस दौरान भाजपा ने फिर एक बार बड़ी जीत दर्ज कर बता दिया कि रुद्रपुर में भाजपा का ही दबदबा है। लेकिन यह चुनाव दोनों पार्टियों को मंथन करने को मजबूर करेगा।
वहीं रुद्रपुर नगर निगम के वार्डों की बात करें तो वार्ड नंबर तीन में भाजपा को हार का सामना करना पड़ा और यहां कांग्रेस प्रत्याशी को जीत हासिल हुई है। रुद्रपुर निकाय चुनाव के मतगणना के दौरान वार्ड 3 के कांग्रेस प्रत्याशी पहले राउंड में मात्र तीन वोटों से आगे रहे, उसके बाद दूसरे राउंड में भाजपा के प्रत्याशी उससे आगे निकले। लेकिन तीसरे और चौथे राउंड में कांग्रेस प्रत्याशी ने भाजपा प्रत्याशी से बढ़त बनाते हुए उन्हें परास्त का दिया। और कांग्रेस ने भाजपा के दर्जा मंत्री के गृह वार्ड में सेंध लगा दी। आपको बता दें कि रुद्रपुर नगर का ट्रांजिट कैंप क्षेत्र भाजपा का गढ़ माना जाता है। अधिकतर चुनाव में भाजपा यहां रिकॉडतोड़ मतों से विजय रहती है। इस बार भी नगर निकाय चुनाव में भाजपा के मेयर प्रत्याशी ने यहां से रिकॉर्ड तोड़ मतों से जीत हासिल की है। लेकिन वहीं बात करें तो ट्रांजिट कैंप के वार्ड नंबर 3 की तो यहां से भाजपा को हार का सामना करना पड़ा है। बता दें कि इस सीट पर चुनाव जीतने के लिए दर्जा मंत्री उत्तम दत्ता के साथ ही पूर्व सभासद और पूर्व नेता प्रतिपक्ष दिलीप अधिकारी के साथ ही कई और दिगज्ज भाजपा नेताओं ने एड़ी चोटी का जोर लगाया था। लेकिन कांग्रेस के सामने उन सभी के दम और दावे ने नाकाम साबित हुए और आखिरकार यहां कांग्रेस को जीत हासिल हुई।
जानकारी के अनुसार पिछले लंबे समय से इस वार्ड में भाजपा का दबदबा रहा है। भाजपा प्रत्याशी हर हाल में इस वार्ड से विजय होकर भाजपा के झोली में जीत का तोहफा डालता था, लेकिन कई सालों बाद भाजपा नेता और दर्जा मंत्री उत्तम दत्ता के प्रयासों के बाद भी यहां भाजपा जीत अर्जित करने में सफल नहीं हो पाई। सूत्र बताते हैं कि भाजपा नेताओं की आपसी रार और अंतकलह यहां भाजपा की हार की सबसे बड़ी वजह रही। चर्चा तो यहां तक है कि ‘तू बड़ा या मैं बड़ा’ के चक्कर में भाजपा नेता यहां लड़ते रहे और जीत कांग्रेस की हो गई। इतना ही नहीं चर्चा तो यहां तक है कि कई छुटभैय्ये नेताओं ने सिर्फ भाजपा के साथ होने का दिखावा किया और कांग्रेस प्रत्याशी को अंदर खाने धनबल की सहायता करते हुए इस सीट पर भाजपा को शिकस्त देने का काम किया हैं। वही माना जा रहा है की टिकट और प्रत्याशी चयन की अंदरूनी कलह भी अहम वजह रही। चर्चा तो यहां तक है कि हर चुनाव में बड़े सीट पर टिकट का दावा करने वाले दर्जा मंत्री के घर में हार की वजह वह खुद ही रहे हैं। ऐसे में लोग अंदरखाने ये भी चर्चा कर रहे हैं कि अपने ही वार्ड में हार का सामना करने वाले कैसे बड़े सीट पर टिकट दावा कर सकते हैं। फिलहाल दर्जा मंत्री के वार्ड में भाजपा की हार अब चर्चा बनकर रुद्रपुर की फिजाओं में तैर रही है। जिसपर लोग तरह-तरह की प्रतिक्रिया दे रहे हैं।