नैनीताल में सैनिकों को बांधी गयी राखी।

एक सैनिक के लिये राखी और स्वतंत्रता दिवस का महत्व क्या होता है, ये तो बस वही जानता है,देश के लिये अपना फर्ज निभाना हर सैनिक का सबसे पहला कर्तव्य होता है,इस कर्तव्य के लिये सैनिक अपने परिवार तक को भूल जाता है,लेकिन जब रक्षाबंधन का पावन पर्व आता है, तब जिन कलाईयों पर बहने राखी बांध अपने भाई की लम्बी उम्र की प्रार्थना किया करती थी ,वो कलाईयां सूनी देख सैनिक के मन में कैसी कसक उठती होगी , ये तो बस वही जानता है।पिछले आठ सालों से रक्षाबंधन में अपने घर जो सैनिक नहीं जा सके उन्हें नैनीताल में स्थानीय महिलाओं के द्वारा राखी बांधी गयी,इन महिलाओं में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष सरिता आर्या भी मौजूद थीं।
इस मौके पर सैनिकों में भी उत्साह देखा गया, भले ये सैनिक घर नहीं जा पाते लेकिन इन सभी सैनिकों को इस बात की खुशी है कि वो देश की सेवा के लिये हमेशा तत्पर रहते हैं ,रक्षाबंधन पर इन सभी सैनिकों को अपने घर जैसा अनुभव नैनीताल में ही मिल गया जब हर सैनिक की कलाई पर महिलाओं ने राखी बांधी,उपहार में बहनों को भी उनकी रक्षा का वचन इन सैनिकों से बिन मांगे ही मिल गया। एक ओर भाई बहन का पावन पर्व तो दूसरी ओर देश की आज़ादी का जश्न ,ऐसे में सच्चा सैनिक सबसे पहले देश ही चुनता है। ऐसे में सैनिको को कैसा महसूस होता है जब वो घर नहीं जा पाते, इस बात पर नैनीताल में सेना में तैनात सैनिकों ने कहा कि पिछले कई सालों से वो अपने घर नहीं गये हैं, देश की सेवा पहला फर्ज है पर आज नैनीताल में जिस तरह से बहनों ने मिलकर राखी बांधी है उसे वो ताउम्र याद रखेंगे।