जिस गाने ने रानू को स्टार बनाया उसको लिखने वाला खुद गुमनामी की ज़िंदगी जीने पर मजबूर

रेलवे स्टेशन से मायानगरी की दुनिया मे कदम रखने वाली रानू मण्डल ने जो गाना गा कर प्रसिद्धि हासिल की क्या आपको पता है वो गाना किसने लिखा था?एक प्यार का नग़मा है,मौजो की रवानी है,,ये गाना संतोष आनंद ने लिखा था।एक कवि सम्मेलन में हिस्सा लेने पहुंचे संतोश आनंद ने मीडिया को बताया कि लोगो के फ़ोन आ रहे है कि एक महिला ने रेलवे प्लेटफार्म में आपका गाना गा कर इतनी प्रसिद्धि हासिल कर ली कि हिमेश रेशमिया ने उसे अपनी फिल्म में गाना गाने के लिए चुना है, पर मेरे पास तो स्मार्टफोन भी नही है जो मैं उस महिला का गया हुआ गाना देख सकू। गौरतलब है कि रानू हिमेश रेशमिया की आने वाली फिल्म हैप्पी हार्डी एंड हीर में तेरी मेरी कहानी गाना गा रही है जिसकी रेकॉर्डिंग भी लगभग पूरी हो चुकी है। 

आज भले ही लेता मंगेशकर का गाया हुआ गीत और संतोष आनंद का लिखा हुआ गीत गा कर रानू को अपनी मंज़िल मिल गयी हो पर इस गीत को लिखने वाले संतोष आनंद आज एक गुमनामी की ज़िंदगी जी रहे हैं।


संतोष आनंद ने सन 1995 के बाद से फिल्मो में गीत लिखना बंद कर दिया था,संतोष आनंद ने अपने बेटे और बहू के सुसाइड के बाद से फिल्मो से दूरी बना ली थी,और खुद को घर मे ही छुपा कर रख लिया था,दोस्तो के अनुरोध पर संतोष ने मंच पर दोबारा गीत सुनाने शुरू तो कर दिए लेकिन संतोष का मानना है कि आज कला पर बाज़ार पूरी तरह हावी हो  चुका है अब संतोष घर के खर्चे के लिए कवि सम्मेलनों में आया जाया करते हैं।संतोष की जोड़ी सबसे ज़्यादा लक्ष्मीकान्त प्यारेलाल के साथ प्रसिद्ध हुआ करती थी,लेकिन अब उनकी ज़िंदगी और कुछ भी नही.....