गंगा किनारे संचालित स्टोन क्रशर होगें बंद

नेशनल मिशन फॉर क्लीन गंगा के महानिदेशक राजील रंजन मिश्रा का कहना है कि गंगा के पांच किलोमीटर के दायरे में अवैध रुप से चल रहे स्टोन क्रशर बंद होगें। केद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के हालिया आदेश के बाद पूर्ववत व्यवस्था प्रभावी हो गई है। एक सप्ताह के भीतर इसके तहत स्टोन क्रशरों पर कार्रवाई अमल में लायी जाएगी। केद्रीय नियंत्रण बोर्ड ने 3 मई 2017 को गंगा के 5 किलोमीटर के दायरे में आने वाले सभी स्टोन क्रशर और खनन पट्टों को बंद करने के आदेश उत्तराखंड के मुख्य सचिव को दिए थे। इसी कड़ी में सीपीसीबी के बाद एनजीटी और नैनीताल हाईकोर्ट ने भी सख्ती दिखाते हुए सरकार को इस संबंध में आदेश जारी किए थे। इसके तहत अगस्त 2017 में रायवाला से भोगपुर तक गंगा के किनारे संचालित 42 स्टोन क्रशर बंद कर दिए गए थे। लेकिन इस बीच केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और नैनीताल हाईकोर्ट के अलग अलग तारीखों में हुए आदेशों के चलते स्टोन क्रशर बंदी आदेश निष्प्रभावी हो गए थे। महानिदेशक का कहना है कि इससे एनएमसीजी का अक्टूबर 2018 का आदेश प्रभावी हो गया है। यानि गंगा के पांच किलोमीटर के दायरे में स्टोन क्रशर व खनन कार्यों पर पाबंदी रहेगी। साथ ही कहा कि अधिकारियों को इस बारे में अवगत करा दिया गया है। इसके अनुपालन की कार्ययोजना तैयार की जा रही है।