पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत जाएंगे गैरसैंण, विकास कार्यो का लेंगे जायजा

उत्तराखंड में गैरसैंण (भराड़ीसैण) के मुद्दे पर एक बार फिर सियासत शुरू हो गई है। पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत गैरसैंण में त्रिवेंद्र सरकार द्वारा किए गए विकास कार्यों को देखने के लिए 9 अगस्त को गैरसैंण जाएंगे।
बता दें कि, मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मार्च में गैरसैंण को ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित किया था। इसके बाद राज्यपाल बेबी रानी मौर्य ने भी भराड़ीसैण (गैरसैंण) को उत्तराखंड की ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित करने की स्वीकृति प्रदान कर दी थी।
हरीश रावत ने कहा कि, ग्रीष्मकाल 15 सितंबर तक रहेगा। समय आ गया है, 15 अगस्त से पहले गैरसैंण जाकर ग्रीष्मकालीन सरकार के दर्शन व उसके कामकाज का आंकलन कर लिया जाय। मैं इस पुण्य कार्य को पूरा करने के लिये 9 अगस्त को गैरसैंण जाऊंगा।
पूर्व सीएम हरीश रावत ने प्रदेश सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि, देहरादून में बैठकर राजधानी नहीं चला सकते, राजधानी चलानी है तो पहाड़ चढ़ना पड़ेगा।
इसके अलावा उन्होंने कहा कि, “क्यों गैरसैंण! क्योंकि गैरसैंण रोजगार व व्यवसाय के नये क्षेत्र खोलता है, पहले से विकसित क्षेत्र में नई संभावनाएं सूख रही हैं। गैरसैंण की ओर बढ़ते कदम, नये रोजगार के संकल्प क्षेत्र दिखाता है, इस संकल्प को दोहराने मैं 9 अगस्त को गैरसैंण जाऊंगा।